वह चिड़िया जो कविता का भावार्थ - Axtarish в Google
सारांश. प्रस्तुत कविता 'वह चिड़िया जो है' कवि केदारनाथ अग्रवाल द्वारा रचित है। प्रस्तुत कविता में कवि ने अपने मन के भीतर कल्पित चिड़िया के माध्यम से मनुष्य के महत्त्वपूर्ण गुणों को उजागर किया है।
29 янв. 2017 г. · इस कविता में कवि ने नीले पंखो वाली छोटी चिड़िया के बारे में बताया है। नीली चिड़िया के रूप में 'केदार नाथ' ने अपने स्वभाव को व्यक्त किया है। उन्होंने बताया है कि छोटी चिड़िया को अन्न से बहुत प्यार है।
28 дек. 2023 г. · उस नन्हीं सी चिड़िया को प्रकृति की हर वस्तु से अत्यंत लगाव है। कवि कहते हैं कि नीले रंग की छोटी चिड़िया को अन्न से बहुत प्यार है। वह बहुत ही रुचि और संतोष के साथ दूध भरे ज्वार के दाने खाती ...
27 авг. 2020 г. · उसे प्रकृति की हर वस्तु से अत्यंत लगाव है। कवि कहते हैं कि नीले रंग की छोटी चिड़िया को अन्न से बहुत प्यार है। वह बहुत ही रुचि और संतोष के साथ दूध भरे ज्वार के दाने खाती ...
26 янв. 2021 г. · 'वह चिड़िया जो' कविता का सारांश बहुत ही विशेष और रोमांचक है|. इनसे भी बहुत सीख मिलती है| वही कवि ने अपने भीतर की कल्पित चिड़िया के माध्यम से मनुष्य के महत्वपूर्ण गुणों को उजागर किया है|.
इस कविता में लेखक ने नीले पंखों वाली एक छोटी सी संतोषी चिड़िया के बारे में बता रहे हैं। उस नन्हीं सी चिड़िया को प्रकृति की हर वस्तु से अत्यंत लगाव है। कवि कहते हैं कि नीले रंग की छोटी चिड़िया को अन्न से बहुत प्यार है।
कवि ने अपने भीतर की कल्पित चिड़िया के माध्यम से. मनुष्य के महत्त्वपूर्ण गुणों को उजागर किया है। प्रश्न- अभ्यास. कविता से. 1. कविता पढ़कर तुम्हारे मन में चिड़िया का जो चित्र उभरता है ...
इस कविता में कवि ने नीले पंखो वाली छोटी चिड़िया के बारे में बताया है। नीली चिड़िया के रूप में 'केदार नाथ' ने अपने स्वभाव को व्यक्त किया है। उन्होंने बताया है कि छोटी चिड़िया को अन्न से बहुत प्यार है।
Продолжительность: 14:09
Опубликовано: 13 мар. 2022 г.
17 февр. 2023 г. · NCERT Class 6 Vasant Bhag 1 Vah Chidiya Jo पाठ 1 · वह चिड़िया जो · कविता का भावार्थ · पंक्तियाँ – वह चिड़िया जो – · शब्दार्थ – जुंड़ी – ज्वार(एक अनाज), रुचि- पसंद, रस- स्वाद ले कर, अन्न- ...
Novbeti >

 -  - 
Axtarisha Qayit
Anarim.Az


Anarim.Az

Sayt Rehberliyi ile Elaqe

Saytdan Istifade Qaydalari

Anarim.Az 2004-2023